बच्‍चों के लिए स्‍वस्‍थ आहा

अधिकांश बच्चें चाहे वो किशोर हो वो खाने को लेकर बहुत ही सलेक्टिव होते हैं।पोषक तत्वों की बच्चों को व्यस्कों की तुलना में ज्यादा आश्वयकता होती है, क्योंकि वो बढ़ रहे होते हैं। पर्याप्त पोषण एक बच्चे की उचित ग्रोथ और विकास के लिए आवश्यक है। अच्छे पोषक तत्व कुछ बिमारियों जैसे मोटापा, कमजोर हड्डियां से बचने में सहायता करते हैं और यह सुनिश्चित करता है कि आपका बच्चा पूरी क्षमता के साथ विकास कर रहा है। एक बढ़ते बच्चे को तीन खानों(ब्रेकफास्ट, लंच और डिनर) और खानों के बीच में स्नैक्स की जरुरत होती है।

कार्बोहाइड्रेट और वसा- ग्रोथ और शारीरिक विकास के लिए जिस ऊर्जा और कैलोरी की जरुरत होती है उसकी पूर्ती कार्बोहाइड्रेट से होती है। स्कूल उम्र में बच्चे तेजी से विकास करते हैं जिससे उनको भूख ज्यादा लगती है। अगर आपके बच्चे की ग्रोथ उसकी भूख कम करती है तो कम हो जायएगी और आपका बच्चा खाने और स्नैक्स कम खाने लगेगा।

प्रोटीन – प्रोटीन शरीर के ब्लॉक बनाता है और शरीर के उत्तकों को बनाने, रखरखाव और मरम्मत करने में सहायता करता है। प्रोटीन से भरपूर खाद्य पदार्थों की आवश्यकता विशेषकर तेजी से बढ़ रहे बच्चों को होती है। प्रोटीन की ज्यादा मात्रा दूध और डेयरी प्रोडक्ट, दालें, अंडे, मछली, पोर्क और मांस में होती है। रोजना अपने बच्चे को प्रोटीन से भरपूर पदार्थ खाने के लिए प्रोत्साहित करना चाहिए।

विटामिन और खनिज – विटामिन और खनीज शरीर की स्वस्थ वृद्धि और विकास को बढ़ावा देते हैं। आयरन और कैल्शियम बच्चों के लिए बहुत आवश्यक खनीज हैं। ग्रोथ कर रहे बच्चे को अपनी हड्डियां और दांत मजबूत करने के लिए कैल्शियम की जरुरत होती है। दूध और दूध से बने पदार्थ और एक हद तक हरी पत्ती वाली सब्जियां कैल्शियम का अच्छा स्त्रोत है। किशोर अवस्था में बच्चे की कैल्शियम की आवश्यकता की पूर्ती केवल खाने से ही पूरी नहीं होती बल्कि कुछ अतिरिक्त कैल्शियम सप्लिमेंट की जरुरत हो सकती है।

आयरन – आयरन खून के लिए एक महत्वपूर्ण खनीज है और आयरन की कमी इंडिया में बच्चों में एक आम समस्या है। दूसरी ओर आयरन खून बनाने के अलावा ध्यान और एकाग्रता को सुधारने में सहयोग करता है। मांस, अंडा, मछली, हरी पत्तेदार सब्जी, आयरन के अच्छे स्त्रोत हैं। जब विटामिन सी से भरपूर भोजन हम करते हैं तो उस शाकाहारी खाने में आयरन की मात्रा ज्यादा होती है।

फल और सब्जियां – फल और सब्जियों में विटामिन और खनीज की मात्रा ज्यादा होती है। विटामिन और खनीज स्वस्थ त्वचा, अच्छी ग्रोथ, विकास और संक्रमण से लड़ने के लिए आवश्यक हैं। सब्जियों में फाइबर भरपूर मात्रा में होती है जिसमें विटामिन ए और सी और सुक्ष्म पोषक जैसे मैग्नीशियम और पोटेशियम पाया जाता है। सब्जियों में एंटीऑक्सीडेंट भी पाया जाता है। एंटीऑक्सीडेंट एक पदार्थ है जो बच्चों के शरीर को बिमारियों से लड़ने की शक्ति देता है और बाद में लाइफ में कैंसर और दिल की बिमारियों जैसी खतरनाक बिमारियों के खतरे को कम करता है। विटामिन बी से भरपूर खाना साबुत अनाज, मांस और डेयरी प्रोडेक्टस है। फलों में भी फाइबर की मात्रा, विटामिन विशेषकर ए और सी और पौटेशियम होता है। सब्जियों की तरह फलों में भी एंटीऑक्सीडेंट होता है जो कि बिमारियों से लड़ने में सहायता करता है और बाद में लाइफ में कैंसर और दिल की बिमारियों के खतरों को कम करता है।

अनाज – आप जितना अनाज खाते हैं उसमें कम से कम आधा अनाज दलिया, अनाज का आटा, मक्का, ब्राउन चावल और गेहूं की रोटियां होनी चाहिए।

हरी सब्जियां – हरी सब्जियों में फाइबर, विटामिन ए और सी और कुछ सुक्ष्म पोषक जैसे मैग्नीशियम, पौटेशियम भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं। सब्जियां उच्च गुणवता वाली जिसमें गहरी हरी, नारंगी रंग की सब्जियां, फलियां(मटर और सेम) स्टार्च सब्जियां और अन्य सब्जियां खानी चाहिए। ज्यादात्तर सब्जियों में एंटीऑक्सीडेंट होता है जो कि बिमारियों से लड़ने में सहायता करता है और बाद में लाइफ में कैंसर और दिल की बिमारियों के खतरों को कम करता है।

फल – फलों को ताजा, डिब्बाबंद, फ्रिज में रखे हुए सुखे और सारा, कटा हुआ और खा सकते हैं।